CBI Raid : दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया के घर समेत 31 ठिकानों पर सीबीआई का छापा, 14 घंटे चली जांच
CBI Raid : कई घंटे तक चली छापेमारी की कार्रवाई के बाद सिसोदिया ने संवाददाताओं से कहा कि सुबह सीबीआई की टीम पहुंची और पूरे घर की तलाशी ली। मेरे परिवार और मैंने उन्हें पूरा सहयोग दिया। उन्होंने मेरा कंप्यूटर और मोबाइल फोन जब्त कर लिया। वे कुछ फाइल भी ले गए हैं।
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केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने आबकारी घोटाले में दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया व आईएएस अधिकारी ए गोपीकृष्ण के घरों समेत 31 जगहों पर छापे मारे। इनमें कई कारोबारी संस्थान व गोपीकृष्ण के दो सहयोगी अफसरों के ठिकाने भी शामिल हैं। उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना की सिफारिश पर ब्यूरो ने इस घोटाले में 17 अगस्त को सिसोदिया समेत 15 लोगों पर नामजद प्राथमिकी दर्ज की थी। दिल्ली के अलावा छह राज्यों में लखनऊ, गुरुग्राम, मुंबई, चंडीगढ़, हैदराबाद व बंगलूरू में छापे मारे गए। सिसोदिया पर राजकोष को नुकसान पहुंचाने व शराब कारोबारियों को अनुचित लाभ देने के आरोप हैं।
सीबीआई की टीमों ने शुक्रवार सुबह एकसाथ सभी ठिकानों पर छापा मारा, जो देर शाम तक चला। इस दौरान, बरामद दस्तावेज व अन्य सामग्री के आधार पर ब्यूरो सभी से पूछताछ करेगा। हालांकि, अफसरों ने बरामद सामग्री की जानकारी नहीं दी है। छापे की जद में आए दिल्ली के पूर्व आबकारी आयुक्त गोपीकृष्ण 2012 बैच के आईएएस अफसर हैं। दिल्ली के मुख्य सचिव की रिपोर्ट के आधार पर उपराज्यपाल ने दिल्ली की 2021-22 की आबकारी नीति में गड़बड़ियों के आरोप लगाते हुए नामजद अधिकारियों समेत 11 को निलंबित कर दिया था। आरोप है कि 2017-18 से 2021-22 के बीच शराब बिक्री से राजस्व में 567.98 करोड़ रुपये की कमी आई।सुबह 8.30 बजे शुरू हुई कार्रवाई 14 घंटे चली सिसोदिया ने ट्वीट किया- सीबीआई का स्वागत है
सीबीआई छापे सुबह 8.30 बजे शुरू हुए। 8.32 बजे मनीष सिसोदिया ने ट्वीट कर पहली सूचना दी। उन्होंने लिखा-सीबीआई आई है। उनका स्वागत है। हम कट्टर ईमानदार हैं। लाखों बच्चों का भविष्य बना रहे हैं। दुर्भाग्य कि देश में जो अच्छा काम करता है, उसे इसी तरह परेशान किया जाता है। इसीलिए हमारा देश नंबर वन नहीं बन पाया है। सीबीआई की कार्रवाई 14 घंटे चली। सिसोदिया की कार की भी जांच हुई।
हम भयभीत नहीं
सीबीआई टीम मेरा कंप्यूटर और मोबाइल फोन ले गई। मैंने और मेरे परिवार ने पूरा सहयोग किया और आगे भी करेंगे। हमने कोई भ्रष्टाचार नहीं किया है। हम भयभीत नहीं हैं। -मनीष सिसोदिया
एफआईआर... पहला नाम सिसोदिया का, पूर्व आयुक्त, नौ कारोबारी और दो कंपनियां भी
एफआईआर में सबसे पहला नाम मनीष सिसोदिया का है। पूर्व आबकारी आयुक्त ए गोपीकृष्ण, पूर्व उपायुक्त आनंद तिवारी, पूर्व सहायक आयुक्त पंकज भारद्वाज के अलावा 11 कारोबारी और कंपनियां भी नामजद हैं।
- कारोबारियों में विजय नायर, मनोज राय, अमनदीप ढल, समीर महेंद्रू, अमित अरोड़ा, दिनेश अरोड़ा, सन्नी मारवाह, अरुण रामचंद्र पिल्लै व अर्जुन पांडे शामिल हैं।
- बडी रिटेल और महादेव लिकर्स कंपनियों के साथ अज्ञात सरकारी कर्मचारी व निजी व्यक्ति शामिल।
कांग्रेस ने किया छापों का समर्थन
कांग्रेस ने सीबीआई छापों का स्वागत किया है। कभी केजरीवाल की सहयोगी रहीं
अलका लांबा ने कहा, यदि उनकी नीति सही थी, तो फिर से शीला दीक्षित सरकार की
नीति को क्यों लागू किया, जबकि आम आदमी पार्टी हमेशा उनकी नीतियों की
आलोचना करती थी।
शराब कारोबारियों के माफ किए 144.36 करोड़
- कोविड-19 महामारी के दौरान शराब कारोबारियों को लाइसेंस फीस में 144.36 करोड़ रुपये की माफी दी गई। इसके अलावा दिल्ली हवाई अड्डे के लिए बोली लगाने वाली फर्म की 30 करोड़ रुपये जमानत राशि वापस कर दी गई।
- ये फैसले दिल्ली आबकारी नियम 2010 का उल्लंघन कर बिना उचित प्राधिकारी की अनुमति के किए गए। इन फैसलों में सिसोदिया का सीधा दखल पाया गया।
उपमुख्यमंत्री के करीबियों ने वसूला कमीशन
- सीबीआई की प्राथमिकी के अनुसार, शराब कारोबारियों से सिसोदिया के करीबी सहयोगी दिनेश अरोड़ा, अमित अरोड़ा और अर्जुन पांडे ने कमीशन वसूला। आबकारी नीति बनाने में शराब कारोबारी व बिचौलिये सक्रिय रूप से शामिल हुए थे।
- एक कंपनी ने दिनेश अरोड़ा से जुड़ी कंपनी को एक करोड़ रुपये ट्रांसफर किए। अर्जुन पांडे ने अफसरों को देने के लिए 2-4 करोड़ रुपये जमा किए।
केजरीवाल बोले-सबसे अच्छे शिक्षा मंत्री
मनीष सिसोदिया आजाद भारत के सबसे अच्छे शिक्षा मंत्री हैं। सीबीआई ‘ऊपरी
आदेश’ के तहत आप के नेताओं को परेशान कर रही है। न्यूयॉर्क टाइम्स में
सिसोदिया की तारीफ में जिस दिन आलेख छपा, उसी दिन कार्रवाई हुई। पहले कैलाश
गहलोत और सत्येंद्र जैन पर भी कार्रवाई हो चुकी है, न उसमें कुछ मिला न
इसमें मिलेगा। -अरविंद केजरीवाल, मुख्यमंत्री, दिल्ली
ठाकुर ने कहा-सीबीआई के डर से पलट दी नीति
सिसोदिया एक्साइज नहीं एक्सक्यूज मंत्री हैं। मुद्दा शराब लाइसेंस में
भ्रष्टाचार का है। जिस दिन मामला सीबीआई को सौंपा, सिसोदिया ने उसी दिन
नीति पलट दी क्योंकि लाइसेंस बांटने में भ्रष्टाचार किया था। सीबीआई के डर
के कारण केजरीवाल व सिसोदिया जांच एजेंसी की कार्रवाई को दिल्ली में शिक्षा
सुविधाओं से जोड़ रहे हैं। -अनुराग ठाकुर, केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री
अब ईडी भी शुरू कर सकती है जांच
सीबीआई की प्राथमिकी के बाद प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) अब मनी लॉन्ड्रिंग की
भी जांच शुरू कर सकता है। ईडी पहले सीबीआई के केस का विस्तृत अध्ययन करेगी
और उसके बाद अपनी कार्रवाई आरंभ करेगी।
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